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टेक ज्ञान

Mutual Fund क्या है और कैसे करे इसमें निवेश ?

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आज के समय में हर व्यक्ति अमीर होना चाहता है फिर चाहे वो नौकरी करके हो, बिज़नेस करके या फिर पैसों को कही निवेश करके.  तो आज हम आपके लिए एक ऐसी जानकारी लेके आए है जिसमे आप अपने पैसे को निवेश करके अधिक मुनाफा कमा सकते है सबसे पहले जानते है कि म्यूच्यूअल फण्ड क्या है?

म्यूच्यूअल फंड्स एक निवेश योजना है जैसा की आप नाम से समझ रहे होंगे Mutual यानी आपसी और Funds यानी पूंजी. निवेशकों की एक बड़ी संख्या के द्वारा जमा की गयी धन राशी को म्यूच्यूअल फंड्स कहते हैं. ऐसे फंड्स जो कि किसी व्यक्ति या फिर कंपनी की इकाई द्वारा एकत्र किये गए हो. इसमें निवेशक एक निश्चित रकम या धनराशि जमा करते है और इस जमा की गयी धनराशी को अलग-अलग सेक्टर्स जैसे सरकारी फण्ड,किसी योजना में,शेयर बाज़ार आदि में निवेश करते है. चलिए इस टर्म (म्यूच्यूअल फण्ड) को और साधारण तरीके से समझते है मान लीजिये आप एक निवेशक है और आपको शेयर मार्केट और स्टॉक मार्केट का कोई ज्ञान नहीं है  इसीलिए आपको किसी विशेषज्ञ की जरूरत होगी. म्यूच्यूअल फंड्स स्कीम निवेशको से पैसा एकत्र करती है और एक साथ शेयर खरीदती व बेचती है. निवेश पर ही निवेशको द्वारा लगाये गए धन का रिटर्न अथवा रिस्क निधारित होता है.  जब बहुत से निवेशक मिल कर एक फण्ड में निवेश करते है तो फण्ड को बराबर-बराबर हिस्सों में बाट दिया जाता है जिसे यूनिट या इकाई कहते है.

उदहारण के लिए मान लीजिये की ४ दोस्त है उन सब को मिलकर एक ज़मीन का एक टुकड़ा खरीदना है अभी उस ज़मीन के टुकड़े की कीमत १०,००० है. इन १०,००० रूपये को १०० हिस्से में बटना है.प्रति हिस्से(शेयर) की कीमत १०० रूपये होगी. उनमे से पहले दोस्त ने ३० हिस्से यानी की ३०% शेयर्स खरीदे तो उसे ३००० रूपये देने होंगे. दुसरे दोस्त ने भी ३०% शेयर्स खरीदे और ३००० रुपये दिए. फिर तीसरे और चौथे दोस्त ने 20%-20% शयेर्स खरीदें यानी की २०००-२००० रुपये दिए. अब अगर ६ महीने बाद उस ज़मीन के टुकड़े की कीमत बढ़कर १५,००० रूपये हो गयी है तो, इसी ज़मीन के १०० हिस्से करने पर प्रति हिस्से या share की कीमत १५० हो जाएगी . पहले दोस्त के ३०% shareकी कीमत जहां पहले  ३००० थी वहीँ अब  ४५०० हो जाएगी . दुसरे दोस्त भी ३०% शेयर की कीमत ४५०० हो गयी है, और -तीसरे दोस्त और चौथे दोस्त के 20%-20% शेयर्स की कीमत अब ३०००-३००० रुपये होगी.

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म्यूच्यूअल फंड्स के प्रकार

वैसे तो म्यूच्यूअल फंड्स 8 प्रकार के होते है लेकिन सबसे ज्यादा चर्चा 5 फंड्स की होती है आइये जानते है वो 8 फंड्स कौन से है?

.मनी मार्केट फंड

इसमें कंपनी निवेशको से लिया हुआ पैसा सुरक्षित व शोर्ट-टर्म स्कीम में लगाया जाता  है जैसे- सरकारी बौंड, बैंकरो की स्वीकृति और जमा प्रमाणपत्रों में निवेश करते है. यह आमतौर पर सुरक्षित निवेश होता है. लेकिन अन्य प्रकार के म्यूच्यूअल फण्ड  की तुलना में थोड़ा कम रिटर्न प्राप्त होता है और ये उन लोगो के लिए है जो तुरंत निवेश का फयदा चाहते है.

.इक्विटी फंड

यह एक म्यूच्यूअल फण्ड होता है जिनका निवेश शेयर कम्पनीयों में होता है जैसे-बैंक, इंफ्रास्ट्रक्चर आदि. इसमें पाया जाने वाला रिटर्न बहुत आधिक लाभ वाले होता है  इसे “हाई रिस्क” फण्ड माना जाता है क्यूंकि इसमें निवेशको को घाटा भी  हो सकता है. इस प्रकार की स्कीम ऐसे निवशको के लिए अच्छी रहती है, जो रिस्क लेने से नहीं डरते है.

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.डेब्ट फंड

इस तरह के इन्वेस्मेंट को “सेफ इन्वेस्टमेंट” कहते है इसके अंतर्गत सरकारी बौंड,कपंनी डिबेचर अथवा फिक्स इनकम डाली जाती है.  इसमें मिलने वाला लाभ पूर्व निश्चित होता है. इस फण्ड के रिटर्न में टैक्स नहीं लगता है. ये फण्ड उन निवेशको के लिए अच्छे है जो रिस्क नहीं लेना चाहते है तथा इसमें पैसा वापस होने की लगभग गैरंटी होती है.

. बैलेंस फंड

ये ऐसे फंड होते है, जो “मिक्स एसेट क्लास” में निवेश करता है. इसमें होने वाला रिटर्न व रिस्क दोनों  लगभग बराबर ही  होता है.  इसका मकसद अंत में भारी मात्रा में धन कमाना होता है. हर कंपनी चाहती है की उसको अधिक लाभ हो और वो निवेशको को अधिक से अधिक लाभ दे सके.

.गिल्ट फंड

इस फण्ड को सबसे ज्यादा सुरक्षित निवेश माना जाता है क्यूकि कंपनिया सारा पैसे सरकारी योजनाओ में लगा देती है चुकि पैसे सरकारी योजनाओ में लगे होते  है तो खतरा न के बराबर होता है .

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.लिक्विड फंड

इन योजनाओ के अंतर्गत पैसा मुख्य रूप से अल्पकालिक साधनों में निवेश किया जाता है. उदहारण टी बिलों,सीपी आदि.यह फंड कम समय में अच्छे  निवेश देता है.जिनको कम समय में ज्यादा पैसे चाहिये वो इस फंड का इस्तेमाल कर सकते है.

. ग्रोथ फंड

इस फंड की सहायता से कंपनिया अधिकतम पैसा कमाने का प्रयास करती है  और इसके अंतर्गत उन्ही  कंपनियो में पैसा लगाया जाता है जो अधिक लाभ कमाती है, इसीलिये इस  फंड में अधिक खतरा होता है.

८. सलूशन ओरिएंटेड म्यूच्यूअल फण्ड

ये  स्कीम किसी खास लक्ष्य या समाधान के हिसाब से बनी होती हैं. इसमें रिटायरमेंट स्कीम या बच्चे की शिक्षा जैसे लक्ष्य  हो सकते है. इसमें कम से कम पांच साल के लिए निवेश किया जाता है.

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 म्यूच्यूअल फंड में कहाँ करे निवेश ?

जैसा की हमने ऊपर म्यूच्यूअल फंड के कई  प्रकार बताए है तो आप म्यूच्यूअल फंड्स में कही तरह से निवेश कर सकते है. सबसे प्रमुख बौड तथा शेयर मार्केट्स है. इसके आलावा गोल्ड भी हो सकता है. आप म्यूच्यूअल फंड स्कीम के डायरेक्ट प्लान में निवेश कर सकते है और यदि आप किसी विशेषज्ञ  की मदद लेना चाहे तो ले सकते है जिससे आपको रेगुलर  प्लान में निवेश कैसे करना है ये पता चल जाएगा. अगर आप सीधे निवेश करना चाहते है तो म्यूच्यूअल फंड की वेबसाइट पर जाना पड़ेगा. अपने दस्तावेज़ लेके आप उसके दफ्तर भी जा सकते है . अगर आप डायरेक्ट म्यूच्यूअल फंड के office जाते हैं, तो आपको कोई कमीशन नहीं देना होगा.

म्यूच्यूअल फंड के फायदे-

म्यूच्यूअल फंड का सबसे बड़ा फायदा ये है की जो निवेशक  बड़े निवेश नहीं कर सकता है वो छोटी छोटी यूनिट में भी निवेश कर सकता है और तो और जिस निवेशक को बाज़ार की अधिक जानकारी नहीं है वो  विशेषज्ञ की भी मदद ले सकता है.

लेकिन सभी निवेशको के लिए ये जानना जरुरी है म्यूच्यूअल फंड में फायदे के साथ नुकसान भी है.

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म्यूच्यूअल फंड से पैसे कैसे कमाये?

सबसे पहले आपको म्यूच्यूअल फंड खरीदने के लिए एक KYC फॉर्म भरना होगा और पासपोर्ट साइज़ की फोटो  के साथ पहचान पत्र की कॉपी, पैन नंबर और निवास के पते का प्रमाण देना होगा.

म्यूच्यूअल फंड में इनवेस्ट करने के लिए या तो आप सीधे म्यूच्यूअल हाउस जाये और या तो फिर किसी विशेषज्ञ की मदद ले.

आइये अब जानते है की म्यूच्यूअल फंड  में कौन- कौन निवेश कर सकता है?

1.  भारतमें म्यूच्यूअल फंड भारत निवेश करने के लिए इनके द्वारा उपलब्ध है

१. इमनें ये निवासी शामिल हैं

क . भारतीय निवासी व्यक्ति

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ख . भारतीय कम्पनियाँ

ग . भारतीय ट्रस्ट

घ . बैंक

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ड . बीमा कंपनिया

च . भविष्य निधियां

२. गैर निवासी भारतीय इनके साथ

क. गैर निवासी भारतीय

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ख . अन्य कॉपरेट बॉडी

३. विदेशिये संस्थाएं

अ. कुछ ऐसी विदेश कम्पनियाँ है जिनको  निवेश नहीं करने दिया जा सकता है इसके अलावा जो निवेशक निवेश करने के लिए पात्र है उसे विभिन्न अनुक्रियाओ का पालन पड़ता है.

सभी निवेशो में कुछ न कुछ जोखिम तो होता है इस म्यूच्यूअल फंड में भी कुछ इस तरह है तो निवेशको को निवेश करने से पहले इन निम्लिखित जोखिमो का आकलन करना जरुरी है.

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१.बाज़ार जोखिम– किसी समय में  किसी विशेष बाज़ार में उतार चढाव होता है और इसी उतार चढ़ाव के कारण निवेश कर्ता  के लिए बाज़ार जोखिम बना रहता है.

२. मुद्रास्फिती जोखिम–  कभी कभी कार्य शक्ति कम हो जाती है. जब भी मुद्रास्फिती आपके निवेश पर होने वाली आय से अधिक तेज़ बढती है,तब वास्तव में खरीदने की क्षमता की कमी का जोखिम होता है और ये तब भी होता जब कीमते लाभ से ज्यादा तेज़ी से बढ़ने लगती है.

.ब्याज दर जोखिम– ब्याज दर के प्रभावित होने से ब्याज दर जोखिम उत्पन्य होता है निवेशको को या स्मरण करना होता है की दर कैसे बढेगी.

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४.निवेश जोखिम –  निवेशको के लिए जितना निवेश किया उससे ज्यादा न मिलने पर निवेश का जोखिम बना रहता है.

उम्मीद है की आपको मेरी ये इस जानकारी अच्छी लगी होगी और इससे आपको म्यूच्यूअल फंड में निवेश करने में  मदद मिलेगी. मेरी सलाह के अनुसार आपके लिए बैंकों या अन्य शेयर बाज़ार से ज्यादा फैदेमंद म्यूच्यूअल फण्ड होता है.

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